झारखंड में इन दिनों सियासी बयानबाजी तेज हो गई है. झारखंड के गोड्डा जिले से सांसद निशिकांत दुबे ने सदन में कुछ ऐसा कह दिया, जिससे इस मामले ने तूल पकड़ लिया. उन्होंने कुछ ऐसा कह दिया कि सदन में हंगामा मच गया. जी है, भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने इंडिया अलायंस और उसमें शामिल पार्टियों को झारखंड की भावना से जुड़ा एक मुद्दा जो दे दिया. लोकसभा सत्र के दौरान गोड्डा से भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने सदन में झारखंड के संथाल, बिहार और पश्चिम बंगाल के कुछ भाग को मिलाकर एक नया केंद्र शासित प्रदेश बनाने की मांग केंद्र से कर दी. झारखंड से अलग केंद्र शासित प्रदेश बनाने के निशिकांत दुबे के बयान का इंडिया अलायंस की पार्टियों ने कड़ा विरोध किया है. इतना ही नहीं, उन्होंने यह भी दावा किया कि इस क्षेत्र में बांग्लादेश से अवैध प्रवासियों की संख्या बढ़ रही है. अब इस पूरे मामले पर राजनीतिक गलियारों में हलचल मच गई है और सभी गुटों के नेताओं ने एक-एक कर विरोध करना शुरू कर दिया है.
क्या BJP में नहीं थम रही अंदरूनी कलह?
अब सवाल उठता है कि निशिकांत दुबे ने अचानक सदन में इतनी बड़ी मांग क्यों कर दी? क्या इसके पीछे कोई बड़ी वजह है? सवाल उठता है कि चुनाव से पहले ये मुद्दे सामने क्यों आ रहे हैं? सांसद ने अपने ही नेता के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है, जिससे यह संकेत मिल रहा है कि बीजेपी में अंदरूनी कलह जारी है. उन्होंने मोदी-शाह को मुसीबत में डालकर बगावत शुरू कर दी है. दरअसल, गोड्डा लोकसभा सीट से बीजेपी के सांसद निशिकांत दुबे ने गुरुवार 25 जुलाई को प्रदेश में घट रही हिंदू आबादी, बढ़ रहे बांग्लादेशी घुसपैठ, धर्मांतरण और NRC का मसला लोकसभा में उठाया था. उन्होंने राज्य में घट रही हिंदुओं की आबादी पर चिंता जाहिर करते हुए एनआरसी लागू करने की मांग की थी. निशिकांत दुबे ने दावा करते हुए कहा था कि मैं जो कुछ भी कह रहा हूं अगर वह झूठ निकला, तो मैं इस्तीफा देने को तैयार हूं. बांग्लादेश से घुसपैठ हमारे यहां लगातार बढ़ रही है, जो आदिवासी महिलाएं हैं उनके साथ बांग्लादेशी घुसपैठिये शादी कर रहे हैं. अब उनके बयान और मांग पर राजनीतिक हलकों में नेता तीखी प्रतिक्रिया दे रहे हैं.