15 अगस्त को बीजेपी के संस्थापक सदस्य कैलाशपति मिश्र की प्रतिमा लगाई गई, कैलाशपति मिश्र की प्रतिमा बिरसामुंडा चौक के समीप लगाई गई है, जिसका विरोध झारखंड आंदोलनकारियों द्वारा किया जा रहा है. झारखंड आंदोलनकारी का कहना है कि कैलाशपति मिश्र की प्रतिमा आंदोलनकारियों के समक्ष लगाकर आंदोलनकारी और स्वतंत्रता सेनानी का अपमान किया जा रहा है. स्वतंत्रता सेनानी और आंदोलनकारी के समक्ष एक ऐसे व्यक्ति की प्रतिमा लगाई गई है जो झारखंड विरोधी है. अगर यह प्रतिमा जल्द से जल्द नहीं हटाई गई, तो 24 अगस्त को झारखंड में आंदोलनकारी विरोध करेंगे और जरूरत पड़ी तो झारखंड भी बंद किया जाएगा.
पूर्व सीएम और बीजेपी सांसद को जेल भेजने की उठी मांग
झारखंड आंदोलनकारी पुष्कर महतो का कहना है कि जगरनाथपुर थाना चौक पर बीजेपी नेता की प्रतिमा लगाकर स्वतंत्रता सेनानी और आंदोलनकारी का अपमान किया गया है साथ ही कोर्ट की आज्ञा की भी अवहेलना की गई है. जिसमें कहा गया है कि बिना सुप्रीमं कोर्ट के आदेश के किसी भी चौक चौराहे पर किसी की प्रतिमा नहीं लगाई जा सकती है, ऐसे में कोर्ट को इस मामले में स्वत संज्ञान लेना चाहिए. उन्होंने आगे कहा कि भारतीय संविधान और सुप्रीम कोर्ट के आदेश की अवमानना करने वाले केंद्रीय मंत्री संजय सेठ, राज्य सभा सांसद डॉ प्रदीप वर्मा, रांची के विधायक सीपी सिंह, पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल मरांडी को कोर्ट की अवमानना करने के आरोप में सलाखों के पीछे होना चाहिए.
24 अगस्त को बंद रहेगा झारखंड ?
इसके साथ ही संजय सेठ पर आरोप लगाते हुए पुष्कर महतो ने कहा कि प्रतिमा लगाने के लिए सांसद संजय सेठ ने संसद निधि कोष का उपयोग किया है प्रतिमा का अनावरण करने के लिए फंड निर्गत नहीं किया जाता है किस तरह कोष का दुरूपयोग हुआ ये जानना चाहिए. और सरकार की ओर से तुरंत संज्ञान लेना चाहिए. दलाल, ठेकेदार बीजेपी के तथाकथित लोग अपनी निजी महत्वकांक्षा की पूर्ति के लिए स्टैचू लगाई है. जिसका झारखंड आंदोलनकारी विरोध करती है और 24 अगस्त को महात्मा गांधी की प्रतिमा के समक्ष झारखंड आंदोलनकारी एकत्रित होंगे और जरूरत पड़ेगी तो झारखंड बंद किया जाएगा.