झारखंड चैंबर की विदेश सेवा के अधिकारी संग वार्ता
रांची: झारखण्ड राज्य से सम्बद्ध भारतीय विदेश सेवा के पदाधिकारी डॉ0 कुमार प्रवीण (2012) के मिड कैरियर ट्रेनिंग प्रोग्राम के तहत झारखण्ड चैंबर ऑफ कॉमर्स की बैठक चैंबर भवन में संपन्न हुई। विदित हो कि यह बैठक उपायुक्त, रांची की पहल पर आयोजित की गई थी।
बैठक में तनजानिया और झारखण्ड के बीच निवेश की संभावनाओं पर वार्ता हुई। भारतीय विदेश सेवा के अधिकारी ने तनजानिया में होटल, हॉस्पिटल, शिक्षा और टूरिज्म सेक्टर में निवेश के लिए झारखण्ड के उद्यमियों को आमंत्रित किया। यह भी बताया कि वहां से झारखण्ड में एवोकाडो का एक्सपोर्ट किया जा सकता है।
चैंबर उपाध्यक्ष आदित्य मल्होत्रा ने झारखण्ड को निवेश के लिए अनुकूल बताते हुए कहा कि प्रदेश में मिनरल्स, कोल्ड बेड मिथेन और आयरन ओर प्रचुर मात्रा में उत्पादन होता है। तनजानिया में स्टील की खपत को देखते हुए उन्होंने झारखण्ड से स्टील के एक्सपोर्ट की संभावनाओं पर अपनी बातें रखीं। इस बात को प्रमुखता से रखा कि तनजानिया के विद्यार्थियों का झारखण्ड आगमन होने से हमारे राज्य को लाभ होगा। यह भी कहा कि सनराइज सेक्टर, आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, ड्रोन के क्षेत्र में अनुसंधान और इस सेक्टर को प्रोत्साहित करने के लिए वहां के झारखण्ड आएं तो उनका भविष्य निर्माण हो सकता है।
चैंबर महासचिव परेश गट्टानी ने तनजानिया सरकार की ओर से झारखण्ड के उद्यमियों को आमंत्रित करने के लिए प्रस्तावित किया। यह कहा कि इसमें हर क्षेत्र के लोगों जैसे ऑटोमोबाइल, टेक्सटाइल, माइनिंग, शिक्षा सेक्टर इत्यादि को शामिल किया जाय। यदि तनजानिया में चेंबर ऑफ कॉमर्स है तो उनसे भी हमारा संपर्क कराया जाय। इससे वहां के निवेश की संभावनओं को जानने का अवसर मिलेगा। झारखण्ड में अब तक डीजीएफटी कार्यालय और एक्सपोर्ट प्रमोशन काउंसिल के नहीं होने से होनेवाली कठिनाईयों पर भी उन्होंने अपनी बातें रखीं। सह सचिव शैलेष अग्रवाल और अमित शर्मा ने राज्य में टूरिज्म की अपार संभावनाओं पर चर्चा की।
बैठक में चैंबर उपाध्यक्ष आदित्य मल्होत्रा, महासचिव परेश गट्टानी, सह सचिव अमित शर्मा, शैलेश अग्रवाल, कार्यकारिणी सदस्य प्रवीण लोहिया, नवजोत अलंग, संजय अखौरी, पूर्व अध्यक्ष प्रवीण जैन छाबडा, सदस्य अरूण जोशी उपस्थित थे।
